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हमीरपुर; बारिश में आधा दर्जन से ज्यादा कच्चे मकान गिरे, वृद्धा हुईं घायल

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नेहा वर्मा, संपादक ।

 

हमीरपुर जनपद में एक सप्ताह से हो रही रिमझिम बारिश से कच्चे मकानों के गिरने का सिलसिला जारी है। राठ क्षेत्र में अभी तक आधा दर्जन से अधिक मकानों के गिरने की जानकारी आयी है। गनीमत यह रही कि मकान गिरने से कोई जनहानि नहीं हुई। औंडेरा गांव में कच्ची अटारी गिरने से वृद्धा को चोटें आईं हैं।

 

राठ में बसेला गांव की कस्तूरी ने बताया कि कुछ साल पहले उनके पति नबलकिशोर की बीमारी के चलते मौत हो गई थी। उनके बच्चे बाहर रहकर मजदूरी करते हैं। गांव के कच्चे मकान में अकेलीं रहतीं थीं। मकान गिरने का आभास होने पर वह बाहर निकल गईं। उसी समय कच्चा मकान भरभरा कर गिर गया। जिसमें गृहस्थी का सामान दबकर खराब हो गया।

 

बसेला गांव के ही सिद्धगोपाल पुत्र रामसेवक खंगार मेहनत मजदूरी कर परिवार का भरण पोषण करते हैं। कच्चा मकान गिरने से उन्हें सिर छिपाने के लिए कोई सहारा नहीं रहा। राकेश पुत्र महादेव प्रसाद फेरी लगाने का काम करते हैं। शुक्रवार सुबह कच्चा मकान गिर जाने से बाल-बाल बच गए। रघुवर सिंह और पप्पू पांचाल खेती किसानी के लिए खेत गए थे। रिमझिम बारिश के चलते कच्चे मकान गिर गए। बिंदा नामदेव और रोहित ने बताया बारिश के चलते कच्चे उनके मकानों का कुछ हिस्सा गिरकर क्षतिग्रस्त हो गया।

 

बारिश के कारण औंड़ेरा गांव में कच्ची अटारी गिरने से वृद्धा घायल हो गईं। गांव के जयसिंह (37) ने बताया कि पिता हरीराम पाल के नाम पर सात बीघा कृषि भूमि है। जिस में सिर्फ तीन बीघा पर खेती होती है। कच्चे मकान में परिवार सहित रहते हैं। शुक्रवार रात करीब नौ बजे सोने की तैयारी लगा रहे थे। तभी अचानक अटारी गिरने का एहसास हुआ। परिवार सहित घर के बाहर की ओर भागे। तभी उनकी मां प्रकाश रानी (63) के सिर पर ईट गिरने से वह घायल हो गईं। जिनका गांव के ही डॉक्टर से उपचार कराया है। उन्होंने बताया कि कच्चा मकान गिरने से अब उन्हें सिर छिपाने की जगह नहीं बची है।

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